रुद्रपुर। उत्तराखंड अधीनस्थ चयन आयोग की भर्ती के नाम पर फर्जीवाड़े के एक मुख्य आरोपी को एसटीएफ ने गजरौला से गिरफ्तार कर लिया है। बताया जा रहा है कि आरोपी पिछले दो सालों से फरार था। जिसके बाद पुलिस ने आरोपी पर पांच हजार का इनाम भी घोषित किया था। एसटीएफ की सीओ डॉ. पूर्णिमा गर्ग ने बताया कि वर्ष 2019 में उत्तराखंड अधीनस्थ चयन आयोग ने सहायक अध्यापक और कनिष्ठ सहायक डाटा एंट्री ऑपरेटरों की लिखित प्रतियोगी परीक्षा हुई थी। इसमें सुनियोजित षड़îंत्र के तहत विजयवीर निवासी रजबपुर (अमरोहा) ने 22 अभ्यर्थियों के नाम पर लिखित परीक्षा में धांधली करवाई।
उन्होंने बताया कि षड्यंत्र का मुख्य आरोपी विजयवीर सरकारी जूनियर हाईस्कूल अफजलपुर लूट रजबपुर अमरोहा में सहायक अध्यापक पर तैनात था। जब परीक्षा की कापियों की जांच की गई तो एक ही मेल आईडी पाई गई। वहीं जिन अभ्यर्थियों ने परीक्षा फार्म भरा था, उन अभ्यर्थियों को हटाकर दूसरों से परीक्षा करवाई गई। इस परीक्षा में फर्जीवाड़े के चलते आयोग की तहरीर पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। फर्जीवाड़े का मास्टरमाइंड विजयवीर पिछले दो सालों से फरार था। पुलिस ने आरोपी पर पांच हजार का इनाम भी घोषित कर दिया था। सीओ डॉ. पूर्णिमा ने बताया कि एसटीएफ को सूचना मिली थी। पुख्ता सूचना के आधार पर फर्जीवाड़े का मुख्य आरोपी गजरौला स्थित एक किराए के मकान में छिपकर रह रहा था। कार्रवाई करते हुए एसटीएफ प्रभारी एमपी सिंह के नेतृत्व में टीम ने बताए गए स्थान पर दबिश देकर आरोपी को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया, जहां से उसे जेल भेज दिया गया।